Monday 8 December 2014

Malu Givralu ka beech Folk song by Narendra singh Negi & Anuradha Nirala
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

गोरी मुखडी मा हो लाल होंटडी जनि आहा 

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

बांज आयारु कु बोण, फुल्यु बुरांस कनु, 
हेरी साडी मा बिलोज लाल पर्यु जनु.

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

कुत्तर किन्गोड़ कफल, काली हिंसर लरतर 
रसुला देवदारु की ठंडी ठंडी हवा सर सर 

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

खिली मखमली बूग्यालू , मा सरल मा क्या बुलन
आंखी रेह्गेनी देखदी, स्वर्ग पहुचीगी मन 

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

यन्न मा होलू कन जू मन माया नी जोड़लू 
खेल माया कु ना खेल, पछतौन पोडालू

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,

केल कुलायु की सेर , तेरा गेल फिर कब,
राजी राली दांडी काँठी, ऋतू बोडली जब, 

मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
मालू ग्वीरालू का बीच खीनी सकीनी आहा,,,,
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